बिग डेटा (Big Data) तकनीक क्या है तथा किन-किन क्षेत्रों में इसका इस्तेमाल किया जा सकता है?

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नमस्कार दोस्तो स्वागत है आपका जानकारी ज़ोन में जहाँ हम विज्ञान, प्रौद्योगिकी, राष्ट्रीय एवं अंतर्राष्ट्रीय राजनीति, अर्थव्यवस्था, ऑनलाइन कमाई तथा यात्रा एवं पर्यटन जैसे क्षेत्रों से महत्वपूर्ण तथा रोचक जानकारी आप तक लेकर आते हैं। आज इस लेख में हम बात करेंगे बिग डेटा तकनीक (What is Big Data in Hindi) के बारे में तथा देखेंगे किस प्रकार इसके प्रयोग से कई क्षेत्रों में आमूलचूल बदलाव लाए जा सकते हैं।

क्या है बिग डेटा? (What is Big Data in Hindi)

बिग डेटा से आशय छोटी छोटी सूचनाओं के एक बहुत बड़े संग्रह से है, जिसे विभिन्न माध्यमों से इकट्ठा किया जाता है। ये सूचनाएं स्ट्रक्चर्ड जैसे बैंक लेन-देन तथा अन स्ट्रक्चर्ड जैसे चित्र, ऑडियो, विडिओ आदि होती हैं। इन सूचनाओं के आधार पर किसी व्यक्ति के बारे में 90 फीसदी तक सटीकता से अनुमान लगाया जा सकता है।

संग्रहित डेटा को मुख्यतः तीन प्रकार से विशेषित किया जाता है, जिसमें डेटा की मात्रा, डेटा की प्रकृति तथा डेटा के उपलब्ध एवं प्रोसेस होने की गति शामिल हैं। तेजी से डिजिटल होती इस दुनियाँ में डेटा एक महत्वपूर्ण ऐसेट बनकर उभर रहा है। लाखों करोड़ों लोगों का निजी डेटा अर्थव्यवस्था के लिए किसी ईंधन से कम नहीं है।

कैसे एकत्र होता है डेटा?

हम अपने दैनिक जीवन में लगभग सभी कार्यों के लिए इंटरनेट पर निर्भर हैं। किन्तु किसी भी कार्य को इंटरनेट की सहायता से पूर्ण करने पर हम उस कार्य से संबंधित महत्वपूर्ण डेटा इंटरनेट की विशाल दुनियाँ में पीछे छोड़ आते हैं। इसकी सहायता से भविष्य में हमारे व्यवहार, आर्थिक एवं सामाजिक स्थिति, पसंद, नापसंद आदि का अंदाज लगाया जा सकता है।

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हम से जुड़ी तमाम जानकारियाँ इंटरनेट पर कहीं न कहीं मौजूद हैं। यदि यह कहा जाए कि, हमें हमसे बेहतर इंटरनेट जानता है तो इसमें कोई अतिश्योक्ति नहीं होगी। आइए कुछ मुख्य उदाहरणों की सहायता से समझने का प्रयास करते हैं कि हम रोजाना कितना डेटा इंटरनेट में स्टोर कर रहे हैं।

इंटरनेट खोज

इंटरनेट को वर्तमान में ज्ञान का भंडार कहना गलत नहीं होगा। किसी भी प्रश्न का उत्तर हमसे केवल एक क्लिक की दूरी पर है। हम रोजाना सैकड़ों की संख्या में इंटरनेट पर विभिन्न विषयों के संबंध में खोजते रहते हैं। हमारे द्वारा की गई सभी खोजें गूगल जैसे सर्च इंजन के पास स्टोर हैं।

सोशियल मीडिया

हम सभी सोशियल मीडिया का इस्तेमाल करते हैं, यह हमें देश दुनियाँ से जोड़ने का एक बेहतर विकल्प है। किन्तु सोशियल मीडिया के माध्यम से भी हम अपना निजी डेटा इंटरनेट के साथ साझा करते हैं, जिसमें हमारा नाम, पता, व्यवसाय, शिक्षा, पसंद, नापसंद, राजनीतिक रुचि जैसी सूचनाएं शामिल हैं। सोशियल मीडिया नेटवर्क अन स्ट्रक्चर्ड डेटा का बहुत बड़ा स्रोत हैं, जिसमें दिन प्रतिदिन वृद्धि हो रही है। प्रमुख सोशियल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म फ़ेसबुक का उदाहरण लें तो एक रिपोर्ट के अनुसार फ़ेसबुक प्रतिदिन 4 पेटाबाइट (लगभग 40 लाख गीगाबाइट) डेटा का निर्माण करता है।

ऑनलाइन लेन-देन

हमारे द्वारा प्रतिदिन किए जाने वाले ऑनलाइन ट्रांजेक्शन जैसे ऑनलाइन शॉपिंग, ऑनलाइन बिलों का भुगतान, पैसों के लेन-देन आदि से हमारी आर्थिक एवं सामाजिक स्थिति का आँकलन किया जा सकता है। हर बार जब कोई लेन-देन पूरा होता है, तो हमारी भौगोलिक स्थिति, खरीद का समय, इसकी लागत समेत कई सूचनाएं एकत्र हो जाती हैं।

सेटेलाइट इमेजिंग

बिग डेटा के संग्रहण में सेटेलाइट इमेजिंग का भी महत्वपूर्ण योगदान है। गूगल अर्थ, गूगल मैप जैसे प्लेटफ़ॉर्म सभी के लिए उपलब्ध हैं, जो प्रतिदिन अपडेट किए जाते हैं। इनसे प्राप्त डेटा से किसी स्थान विशेष की सामाजिक स्थिति तथा अर्थव्यवस्था का पता लगाना बहुत हद तक आसान है। इसके अतिरिक्त हमारे द्वारा प्रयोग किए जाने वाले अधिकांश उपकरणों में भी GPS जैसी सुविधा उपलब्ध है जो हमारी भौगोलिक स्थिति बताने में मदद करता है।

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हाँलकी इसके बहुत हद तक फायदे भी हैं, किन्तु इसके गलत उपयोगों से भी इंकार नहीं किया जा सकता, आपके स्मार्टफोन में उपलब्ध अधिकांश एप आपको ट्रेक कर रही हैं। आप किस स्टोर से शॉपिंग करते हैं, किस रेस्त्रां में खाना खाते हैं जैसी कई सूचनाएं इनके पास उपलब्ध होती हैं।

कैसे कार्य करता है?

हमनें ऊपर बिग डेटा संग्रहण के विभिन्न तरीकों के बारे में समझा आइए देखते हैं इस डेटा को किस प्रकार प्रोसेस कर उपयोग में लाया जाता है। इस तकनीक द्वारा प्राप्त सूचना की अन्य सूचना से तुलना कर उनके मध्य सहसंबंध स्थापित करने का प्रयास किया जाता है तथा प्राप्त परिणामों के आधार पर आगामी निष्कर्ष निकाले जाते हैं। गौरतलब है कि, सूचनाओं के बहुत बड़े संग्रह में किसी अर्थपूर्ण निष्कर्ष तक पहुँचने के लिए आर्टिफ़िशियल इंटेलिजेंस का प्रयोग किया जाता है। 

बिग डेटा तकनीक के अनुप्रयोग

बिग डेटा (Big Data) का वैध तरीके से उपयोग कर कई क्षेत्रों में बदलाव किए जा सकते हैं। कुछ प्रमुख क्षेत्रों में बिग डेटा के प्रयोग होने वाले परिवर्तनों को नीचे बताया गया है।

सरकारी क्षेत्र में

बिग डेटा का उपयोग कर सरकारी काम काज को बहुत हद तक आसान बनाया जा सकता है। इसकी सहायता से सरकार नागरिकों के लिए उनकी आवश्यकताओं एवं व्यवहार के अनुरूप सुनियोजित तरीके से नीतियाँ बना सकती है। टैक्स चोरी को रोकना सरकार की एक अन्य समस्या है, बिग डाटा तकनीक करों की चोरी की पहचान कर सरकार को इस दिशा में अधिक दक्ष बना सकता है। इसके अतिरिक्त बिग डेटा (Big Data) यातायात नियंत्रण, मार्ग नियोजन, स्मार्ट परिवहन प्रणाली, भीड़ प्रबंधन (यातायात की स्थिति का अनुमान लगाकर) आदि में भी कारगर साबित हो सकती है। 

शिक्षा एवं चिकित्सा क्षेत्र में

बिग डेटा के माध्यम से छात्रों के व्यवहार को समझते हुए उनका सही मूल्यांकन किया जा सकता है, जिससे छात्रों का सही दिशा में मार्गदर्शन किया जा सके। इसकी सहायता से बाज़ार में नवीनतम रोजगार आधारित विशेष कौशल को पहचानकर उसे विकसित किया जा सकता है, जो शिक्षा के अतिरिक्त रोजगार को भी बढ़ावा देगा। वहीं चिकित्सा क्षेत्र की बात करें तो इसका प्रयोग किसी व्यक्ति की आनुवंशिक प्रोफाइल मैप बनाने में किया जा सकता है, जिससे डॉक्टरों द्वारा रोगी के स्वास्थ्य का और सटीकता से अनुमान लगाया जा सकता है।

आपदा प्रबंधन में

बिग डेटा (Big Data) एक अन्य महत्वपूर्ण उपयोग आपदा के प्रबंधन में किया जा सकता है। सैटेलाइट इमेज, ड्रोन वीडियो, क्राउडसोर्सिंग, सोशल मीडिया और ग्लोबल पोजिशनिंग सिस्टम (GPS), आदि से प्राप्त सूचनाओं के आधार पर जोखिम में फंसे लोगों की पहचान करने व उनका पता लगाने, आपदा से पूर्व लोगों को चेतावनी जारी करने और आपदा के तुरंत बाद राहत कार्य करने, आदि में सहायता मिलेगी।

कृषि क्षेत्र में

बिग डेटा (Big Data) किसानों को वर्षा के पैटर्न, उर्वरक आवश्यकताओं समेत कई महत्वपूर्ण डेटा प्रदान कर सकता है। इसकी सहायता से किसानों को यह निर्णय लेने में आसानी होगी कि बेहतर लाभप्रदता के लिए कौन सी फसल लगाई जाए तथा कब लगाई जाए। इन आंकड़ों की मदद से लिए गए फैसले अंततः खेत की पैदावार तथा किसानों की आय में वृद्धि कर सकते हैं।

big data in agriculture
बिग डेटा तकनीक

मार्केटिंग

इसका महत्वपूर्ण उपयोग बाज़ार में किया जा सकता है हालाँकि इस क्षेत्र में इसका उपयोग किया भी जा रहा है, जिसमें लोगों के व्यवहार, आर्थिक, सामाजिक स्थिति को समझकर उन्हें उनके अनुरूप सेवाओं एवं वस्तुओं के सुझाव दिए जाते हैं। यदि बाज़ार बिग डेटा का इस्तेमाल केवल लाभ अर्जित करने के भाव के अलावा नैतिकता को ध्यान में रखकर करे तो समाज पर इसके कई सकारात्मक प्रभाव देखने को मिल सकते हैं। इसके अतिरिक्त बिग डेटा (Big Data) की सहायता से आपूर्ति एवं माँग के बीच उत्पन्न अंतर को कम किया जा सकता है, वितरण मार्गों को ट्रैक और अनुकूलित करके आपूर्ति श्रृंखला को प्रबंधित किया जा सकता है।

बिग डेटा तकनीक के नुकसान

किसी भी प्रौद्योगिकी में फायदों के साथ नुकसान की संभावना भी बनी रहती है, जहाँ किसी तकनीक का सदुपयोग करने से मानव जीवन को बेहतर बनाया जा सकता है, वहीं इसके दुरूपयोग मानव जीवन तथा समाज के लिए खतरा भी बन सकता है। बिग डेटा (Big Data) तकनीक से हो सकने वाले कुछ नुकसान के बारे में नीचे चर्चा की गई है।

डेटा की गुणवत्ता का संदिग्ध होना

बिग डेटा सूचनाओं का एक विशाल संग्रह है। इसमें किसी व्यक्ति से जुड़ी विभिन्न सूचनाएं अलग अलग मंचों पर उपलब्ध होती हैं, जिनका उपयोग कर किसी व्यक्ति की एक प्रोफ़ाइल बनाई जा सकती है। हालाँकि अधिकाश परिस्थितियों में यह सटीक साबित होती है, किन्तु इसमें त्रुटि की संभावना भी बनी रहती है अतः डेटा की गुणवत्ता कभी-कभी संदिग्ध होती है।

डेटा की सुरक्षा

भारत जैसे विकासशील देशों के लिए इसके प्रयोग में अन्य चुनौतियाँ भी हैं चूँकि अधिकांश परिस्थितियों में डेटा का भंडारण विदेशी कंपनियों द्वारा किया जाता है। अत: डेटा का विदेशी डेटा सेंटरों में में इतनी बड़ी मात्रा में भंडारण किसी देश के लोगों की गोपनीयता के लिए खतरा बन सकता है। इस प्रकार के कई मामले समय समय पर सामने भी आते रहते हैं।

डेटा का गलत इस्तेमाल

विदेशी सरकारों, बहुराष्ट्रीय कंपनियों द्वारा किसी देश की नीतियों को प्रभावित करने के लिये भी व्यक्तिगत डेटा के विशाल भंडार का उपयोग किया जा सकता है। इस प्रकार का संग्रहण असामाजिक तत्वों अथवा विरोधी विदेशी सरकारों के हाथों में खतरनाक साबित हो सकता है। साल 2016 में हुए अमेरिकी चुनाव में कथित रूप से रूसी हस्तक्षेप से इस बात का अंदाज लगाया जा सकता है, की उपर्युक्त संभावनाएँ केवल कल्पना मात्र नहीं हैं।

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